गिरिडीह में साइबर अपराधियों के खिलाफ पुलिस की ताबड़तोड़ कारवाई जारी है। इसी क्रम में इस बार पुलिस ने एक दर्जन अपराधियों को दबोचा है। और इन अपराधियों के पास से पुलिस ने 19 मोबाइल फोन के साथ 33 सीम कार्ड, पांच बाइक और दो लाख 19 हजार नगद भी बरामद किया है। इधर दूसरे दिन गुरुवार को एसपी दीपक कुमार शर्मा और डीएसपी संदीप सुमन ने प्रेसवार्ता कर पूरे मामले की जानकारी देते हुए गिरफ्तार सारे अपराधियों में एक अपराधी दीपक वर्मा यूपी के गोंडा जिले का रहने वाला है।
और इस दीपक वर्मा की मोसी देवघर के झिलुआ गांव का रहने वाला है। एसपी और डीएसपी ने बताया की दीपक वर्मा को उसके देवघर के झिलुआ गांव के मोशेरे भाई सच्चिदानंद कुमार ने ही दीपक को बरगला कर साइबर अपराध में लाया है। और इसके लिए सच्चिदानंद कुमार मंडल ने अपने गोंडा के मौसेरे भाई दीपक वर्मा को हर माह 15 हजार देने की बात कहकर साइबर अपराध की दुनिया से रूबरू कराया। सच्चिदानंद समेत उसके गिरोह ने दीपक को हर बैंक खाताधारक को बात अलग अलग प्रलोभन देकर फसाने की ड्यूटी दे रखा मौसेरे भाई था। क्योंकि दीपक एक शादी समारोह में शामिल होने अपने मोसी घर झिलूआ गांव आया हुआ।
इसके बाद उसके सच्चिदानंद मंडल ने शराब पीने के क्रम में दीपक को अपने गिरोह से भेट कराया। इधर गिरफ्तार अपराधियों में गिरिडीह के अहिल्यापुर के कोलडीह गांव निवासी पवन राणा, गांडेय के भुरकुंड गांव निवासी शमसाद अंसारी, सजाद अंसारी, कुलजोरी गांव निवासी सलामत अंसारी, बेंगाबाद के महदेइया गांव निवासी नितेश कुमार, पंकज मंडल, अहिल्यापुर के पिपरासिंघा गांव निवासी मुकेश मंडल, गांडेय के रकसकुटो निवासी निर्मल मंडल, रूपेश मंडल और ताराटांड़ के सोहन मंडल शामिल है। एसपी और डीएसपी संदीप सुमन ने बताया की सारे अपराधी अलपेमिकस, एनीदेशक, टीमवियर का लिंक भेज कर गर्भवती महिलाओं के परिजनों से इंस्टाल कर उनके बैंक खाते से पैसे की ठगी करने में सफल रहते। यही नहीं सारे इतने शातिर थे की ये सारे अपराधी डाटा उपलब्ध कराने वाले कंपनी के प्रतिनिधि से मिलिभगत कर बैंक खाता धारकों के नंबर तक जुगाड कर लेते। और ये सारा काम सारे फर्जी सिम कार्ड और एटीएम के जरिए करते। वैसे एसपी ने बताया की अब तक जिले में 85 अपराधियों को गिरफ्तार किया जा चुका है।